मोदी ने फ्रांसीसी राष्ट्रपति के सामने स्कोर्पिन पनडुब्बी के डाटा लीक का मुद्दा उठाया

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स्कॉर्पीन पनडुब्बी

 

 

दिल्ली:

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने समूह 20 की शिखर बैठक से इतर आज् फ्रांसीसी राष्ट्रपति फ्रास्वां ओलांद के साथ स्कोर्पिन पनडुब्बी के गोपनीय आंकड़ों के लीक होने का मुद्दा उठाया। फ्रांसीसी रक्षा कंपनी डीसीएनएस के सहयोग से मुंबई में भारतीय नौसेना के लिए बनायी जा रही छह अत्याधुनिक पनडुब्बियों की क्षमता के संबंध में 22 हजार से अधिक पन्नों के गोपनीय आंकड़े लीक हो गए थे।

इस पूर्वी चीनी शहर में शिखर बैठक के अंतिम दिन मोदी ने एरदोगान और ओलांद से अलग अलग मुलाकात की। एरदोगान के साथ उन्होंने भारत की एनएसजी सदस्यता के मुद्दे पर विचार विमर्श किया।

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इससे पूर्व वह ब्रिटेन की नयी प्रधानमंत्री थेरेसा मे से मिले और यूरोपीय संघ से ब्रिटेन के अलग होने के फैसले के बाद के परिदृश्य में ‘‘अवसरों के निर्माण’’ को लेकर उनसे चर्चा की।

ओलांद के साथ अपनी द्विपक्षीय वार्ता में मोदी ने स्कोर्पिन श्रेणी की पनडुब्बियों से संबंधित संवेदनशील गोपनीय आंकड़ों के लीक होने का मामला उठाया। स्वरूप ने कहा, ‘‘ यह मुद्दा भी उठा।’’ फ्रांसीसी रक्षा कंपनी डीसीएनएस के सहयोग से मुंबई में भारतीय नौसेना के लिए बनायी जा रही छह अत्याधुनिक पनडुब्बियों की क्षमता के संबंध में 22 हजार से अधिक पन्नों के गोपनीय आंकड़े लीक हो गए थे । बताया जाता है कि ये आंकड़े विदेश में लीक हुए हैं ।

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एरदोगान के साथ अपनी मुलाकात में प्रधानमंत्री ने 48 सदस्यीय परमाणु आपूर्तिकर्ता समूह (एनएसजी) में भारत की सदस्यता के मुद्दे पर विचार विमर्श किया। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता विकास स्वरूप ने यह जानकारी दी।

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एरदोगान के साथ एनएसजी पर चर्चा महत्वपूर्ण थी क्योंकि तुर्की उन कुछ देशों में शामिल था जिसने चीन के साथ सोल में जून में एनएसजी की बैठक में भारत के शामिल होने का विरोध किया था।

चीन ने यह कहते हुए आपत्ति जतायी थी कि भारत परमाणु अप्रसार संधि (एनपीटी) का हस्ताक्षरकर्ता नहीं है ।