सिमी के आठ आतंकियों का एनकाउंटर: उठने लगे सवाल

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भोपाल

नई दिल्ली/भोपाल : भोपाल सेंट्रल जेल से भागे आठ संदिग्ध सिमी के आठ आतंकियों के एनकाउंटर में मारे जाने के बाद इस मामले पर राजनीति शुरू हो गई है। आप और कांग्रेस, दोनों ने ही पूरे घटनाक्रम पर सवाल उठाए हैं। आप ने जहां सभी आतंकियों के एक साथ भागने और एक ही जगह मारे जाने पर सवाल उठाए हैं, वहीं कांग्रेस ने इस मामले में जुडिशल जांच की मांग की है।

आम आदमी पार्टी की विधायक अलका लांबा ने सोमवार को ट्वीट करके लिखा, ‘आतंकी मारे गए,अच्छा हुआ। 8 आतंकियों का एक साथ भागना, फिर कुछ घंटों बाद एक ही साथ एनकाउंटर में मारे जाना। सरकार के पास “व्यापम” फार्मूला भी था।’ आतंकियों के मारे जाने को लेकर कुछ सोशल मीडिया यूजर्स ने सवाल उठाए।

अलका ने इन ट्वीट्स को रिट्वीट किया। हालांकि, भोपाल के आईजी ने यह साफ कर दिया है कि आतंकियों के पास हथियार थे। पुलिस के मुताबिक, आतंकियों को सेल्फ डिफेंस में मारा गया है। बता दें कि मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, आतंकियों के पास से नए कपड़े और खाने का सामान भी मिला। ऐसे में ये सवाल उठने शुरू हो गए हैं कि क्या स्थानीय तौर पर किसी ने इन आतंकियों की मदद की?

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कांग्रेस महासचिव दिग्विजय सिंह ने पूरे घटनाक्रम को साजिश बताते हुए मामले में निष्पक्ष जांच की मांग की। उन्होंने शक जताया कि आतंकियों को किसी योजना के तहत जेल से भगाया गया। वहीं, कांग्रेस नेता कमलनाथ ने कहा, ‘चूंकि अब सारे आतंकी मारे जा चुके हैं और हमें कोई जानकारी नहीं मिल सकती, इसलिए इस बात की जुडिशल जांच होनी चाजिए कि वे कैसे भागे।’

बता दें कि सोमवार तड़के सिमी के आठ आतंकी भोपाल सेंट्रल जेल में एक सुरक्षाकर्मी की हत्या करके फरार हो गए थे। इसके बाद भोपाल समेत पूरे राज्य में हाई अलर्ट घोषित कर दिया गया था। मामले पर गृह मंत्रालय ने राज्य सरकार से रिपोर्ट भी मांगी थी। वहीं, चार जेल अफसरों को सस्पेंड भी कर दिया गया था। शिवराज ने आतंकियों के भागने की घटना को राजद्रोह के बराबर की लापरवाही करार दिया था। वहीं, आतंकियों पर 5-5 लाख रुपए के इनाम का भी ऐलान किया गया था।

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