बुर्कीनी को लेकर फ्रांस और अन्य देशों में चारो और जबरदस्त बहस छिड़ी हुई है। फ्रांस की सर्वोच्च प्रशासनिक अदालत ने मुस्लिम महिलाओं के लिए खास तौर पर बने ‘बुर्कीनी ’ नामक स्विम सूट पर लगाए गए विवादास्पद प्रतिबंध को गैरकानूनी करार देते हुए ख़ारिज कर दिया है।
अदालत ने कहा, ‘विलनव लूबे में बुर्किनी पर लगी रोक व्यक्तिगत आजादी, विचारों की स्वतंत्रता और कहीं भी आने-जाने के अधिकार का गंभीर और साफ तौर पर उल्लंघन है। ये धर्म मानने या न मानने के अधिकार का भी हनन करती है इसलिए गैरकानूनी है।’
वहीं इस पर फ्रांस के प्रधानमंत्री मैनुएल वाल्स ने गुरूवार को कहा, ‘फ्रांस में आधुनिक , धर्मनिरपेक्ष इस्लाम की जरूरत है और बुरकीनी पहनने का विचार उस सोच के साथ भिड़ गया है।’ मैनुएल वाल्स ने आगे कहा, ‘इस पर बहस अभी खत्म नहीं हुई है। ये ड्रेस कट्टर इस्लामवाद और पिछड़ापन का प्रतीक है। हमे कट्टरपंथी इस्लाम के खिलाफ एक निर्धारित लड़ाई लड़नी होगी। मेरे लिए बुर्कीनी महिलाओं की गुलामी का प्रतीक है।’
उल्लेखनीय है कि फ्रांस के कई शहरों में बुर्कीनी पर प्रतिबंध को लेकर मानवाधिकार संगठनों ने मुस्लिम महिलाओं के अधिकार का उल्लंघन बताकर इसके खिलाफ अपील की थी।