नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार(2 नवंबर) को कहा कि तकनीक के युग में मीडिया के लिए विश्वसनीयता सबसे बड़ी चुनौती है और मीडिया प्रतिष्ठानों के लिए इसे बनाए रखना जरूरी है।
द इंडियन एक्सप्रेस अखबार द्वारा आयोजित रामनाथ गोयनका एक्सीलेंस इन जर्नलिज्म अवार्डस समारोह में पुरस्कार वितरण के बाद मोदी ने कहा कि पहले निश्चित प्रशिक्षण एवं योग्यता के साथ लोग पत्रकारिता में आते थे, लेकिन अब मोबाइल फोन से कोई भी तस्वीर लेकर उसे अपलोड कर सकता है।
उन्होंने कहा कि ‘‘लोगों के पास अब बहुत सारी खबरें आती हैं। इस संदर्भ में विश्वसनीयता बनाए रखना एक बड़ा मुद्दा है और इस समय की सबसे बड़ी मांग है।’’ मोदी ने हल्के फुल्के अंदाज में कहा कि जहां मीडिया के पास हर चीज और हर किसी के ऊपर टिप्पणी करने की पूरी स्वतंत्रता है, वहीं उसे खुद को लेकर दूसरों के रूख पसंद नहीं आते।
उन्होंने कहा कि वह आजादी के बाद से मीडिया में इतनी चर्चा पाने वाले एकमात्र विशेषाधिकार प्राप्त नेता हैं और वह इसके लिए हमेशा मीडिया के आभारी रहेंगे। मोदी ने मीडिया के सामने दो मुद्दे निर्धारित करते हुए कहा कि उन्हें मीडिया द्वारा सरकार की आलोचना से दिक्कत नहीं है लेकिन खबर देने में कोई गलती नहीं होनी चाहिए।
उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय एकता प्राथमिकता होनी चाहिए क्योंकि भारत विविधता से भरा हुआ देश है। प्रधानमंत्री ने कहा कि ‘‘आपके लिए किसी भी तरह का समझौता खबर है और आप अगली खबर की तरफ बढ़ जाते हैं लेकिन इस तरह के समझौते से पीछे गहरे घाव रह जाते हैं। हम(नेता) भले ही आपसे ज्यादा गलतियां करते हों, लेकिन कृपया राष्ट्रीय एकता की ताकतों को मजबूत करें।’’
































































