कांग्रेस का गांधी हत्या वाले बयान पर आरएसएस पर बड़ा हमला, कहा ऐसा कहने वाले दूसरे लोगों पर भी मुकदमा करे संघ

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दिल्ली

कांग्रेस ने आज कहा कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने उन लोगों के खिलाफ मानहानि के मामले क्यों नहीं दर्ज कराये जिन्होंने राहुल गांधी की तरह कहा है कि महात्मा गांधी की हत्या के लिए संघ से जुड़े लोग जिम्मेदार हैं।

इस मामले में उच्चतम न्यायालय में राहुल का बचाव कर रहे वरिष्ठ वकील और कांग्रेस प्रवक्ता कपिल सिब्बल ने संघ से पूछा कि उसने नाथूराम गोडसे के भाई गोपाल के खिलाफ मामला क्यों नहीं दर्ज कराया जिन्होंने कहा था कि नाथूराम समेत सभी चारों भाई संघ में थे।

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सिब्बल ने कहा कि जब लालकृष्ण आडवाणी ने नाथूराम के संघ से संबंधों की बात खारिज की थी तो गोपाल गोडसे ने उनकी आलोचना की थी।

सिब्बल ने संवाददाताओं से कहा कि गोपाल ने कहा था, ‘‘आप कह सकते हो कि संघ ने प्रस्ताव पारित नहीं किया था लेकिन उसने गांधीजी को मारने की साजिश रची थी।’’ सिब्बल ने गोपाल के हवाले से कहा, ‘‘सारे भाई संघ में थे। आप कह सकते हो कि हम आरएसएस में बड़े हुए। उन्होंने कहा था कि वह आरएसएस छोड़ चुके थे। उन्होंने ऐसा इसलिए कहा था क्योंकि गोलवलकर और आरएसएस गांधी की हत्या के बाद बहुत दिक्कत में थे। लेकिन उन्होंने संघ को छोड़ा नहीं था।’’ जारी

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कांग्रेस नेता ने इसके अलावा कहा कि चार फरवरी, 1948 की एक सरकारी विज्ञप्ति में कहा गया कि संघ द्वारा अनपेक्षित और खतरनाक गतिविधियां चलाई जाती हैं। ऐसा पाया गया है कि देश के कई हिस्सों में संघ के सदस्य हिंसा, आगजनी, लूटपाट और हत्या के कृत्यों में संलिप्त रहे हैं। सिब्बल ने कहा कि श्याम चंद द्वारा लिखित पुस्तक ‘सैफरन फासिस्म’ में जवाहरलाल नेहरू के एक पत्र का उल्लेख है जिसमें उन्होंने लिखा था कि गांधीजी की हत्या संघ द्वारा आयोजित एक व्यापक अभियान का हिस्सा थी।

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पुस्तक में यह भी उल्लेख है कि सरदार पटेल ने कहा था कि सावरकर के नेतृत्व में हिंदू महासभा की कट्टर शाखा ने साजिश रची थी और इसे अंजाम दिया।

उन्होंने कहा, ‘‘यह भी लिखा है कि जब गांधीजी की हत्या की गयी तो संघ ने मिठाइयां बांटी। यह ऐतिहासिक तथ्य है। राहुल गांधी पर मानहानि के लिए मुकदमा चलाने की मांग कैसे की गयी?’’