प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के देश को ‘कैशलेस इकॉनोमी’ यानी नकदीविहीन व्यवस्था की तरफ आगे बढ़ाने के सपना की तर्ज पर केंद्रीय वित्तमंत्री अरुण जेटली ने सरकारी कार्यों में नकदी का इस्तेमाल कम करने के लिए नए आदेश जारी किए हैं। उन्होंने सभी सरकारी विभागों से कहा है कि वे वेंडरों और ठेकेदारों को 5,000 रुपए से ज्यादा नकदी का भुगतान न करें।
वित्त मंत्री द्वारा अनुमोदित, व्यय विभाग द्वारा सोमवार को जारी किए गए ज्ञापन में, मंत्रालयों से कहा गया है कि वह 5,000 रुपए से ज्यादा के बकाया के भुगतान के लिए ई-पेमेंट सुविधाओं का प्रयोग करें। ऐसा सरकारी भुगतानों के पूरी तरह डिजिटलाइजेशन करने के उद्देश्य को प्राप्त करने के लिए किया गया है। वित्त मंत्रालय ने अपने आदेश में कहा है, ‘सभी मंत्रालय व सरकार के सभी विभाग तत्काल प्रभाव से यह सुनिश्चित करें कि सप्लायर्स, कॉन्ट्रैक्टर्स, ग्रांटी/कर्ज संस्थाएं इत्यादि को 5,000 रुपए से ज्यादा के भुगतान के लिए भुगतान सलाह का प्रयोग हो।’
सरकार ने सभी अहम विभागों से ऑनलाइन और डिजिटल ट्रांजैक्शन करने को कहा है। सिर्फ 2 प्रतिशन ऑनलाइन ट्रांजेक्शन वाले देश को कैशलेस सोसाइटी बनाना आसान नहीं है। इसलिए सरकार ने अधिकारियों को इसके लिए प्रोत्साहित करने का मन बनाया है। देश भर में फैले आईएएस अफसरों, जो जिले की कमान संभाल रहे हैं, को कहा गया है कि वह अपने-अपने इलाके में लोगों को ई-पेमेंट के बारे में जागरूकर करें।