नोटबंदी के 37 दिनों के बाद भी गरीब किसानों के पास नहीं हैं पैसे, मजूदरों को खाली हाथ लौटना पड़ रहा घर: मायावती

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फाइल फोटो।

बीएसपी प्रमुख मायावती ने कहा कि नोटबंदी से किसान और मजदूर सबसे ज्यादा प्रभावित हुए हैं और सरकार से फसल कर्ज माफ करने और बरामद काला धन को गरीबों के खाते में जमा करने की मांग की। नोटबंदी पर मोदी सरकार पर हमला करते हुए उन्होंने कहा कि नोटबंदी के 37 दिनों के बाद भी लोग दिक्कत झेल रहे हैं और गरीब किसानों के पास फसल बोने के लिए पैसे नहीं हैं और काम नहीं रहने से मजूदरों को अपने घर लौटना पड़ रहा।

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संसद के बाहर मायावती ने संवाददाताओं से कहा, ‘सरकार के नोटबंदी के फैसले के कारण किसान और मजदूर सबसे ज्यादा प्रभावित हुए हैं। काम नहीं मिलने से मजदूरों को घर लौटने को मजबूर होना पड़ रहा और किसान पैसा नहीं रहने से फसल की बुआई नहीं कर पा रहे ।’

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सरकार के नोटबंदी के फैसले पर मायावती ने कहा, ‘चूंकि मोदी सरकार का दावा है कि कालाधन के खिलाफ अभियान से भारी मात्रा में धन जमा हुआ है तो सरकार को संग्रहित धन को गरीबों के खाते में जमा करना चाहिए, कृषि कर्ज माफ कर देना चाहिए और अमीर कारोबारियों को छूट मिलनी बंद होनी चाहिए।’

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पीएम के नोटबंदी के फैसले को उत्तरप्रदेश में चुनाव को ध्यान में रखकर लेने का आरोप लगाते हुए मायावती ने कहा कि आगामी चुनाव में इसका उल्टा असर होगा और उत्तरप्रदेश की जनता बीजेपी को सबक सिखाएगी।