गृहमंत्रालय ने सभी राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेश को अवैध तरीके से रह रहे रोहिंग्या मुसलमानों की पहचान करने के लिए एडवाइजरी जारी किया है। जिसके तहत अब भारत मे अवैध तरीके से रह रहे रोहिंग्या मुसलमानों की पहचान कर उसे बाहर निकाला जाएगा। एडवाइजरी में रोहिग्या मुसलमानों से खतरे की बात भी कही गई है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से म्यांमार में रोहिंग्या मुस्लिमों का मुद्दा उठाने के बाद यह एडवाइजरी सामने आई है।
सूत्रों के मुताबिक आतंकी संगठन रोहिंग्या मुसलमानों को भारत के ख़िलाफ़ आतंकी घटनाओं में इस्तेमाल कर सकते है। वर्तमान में भारत मे अवैध तरीके से 40 हज़ार रोहिंग्या अलग-अलग राज्यों में रह रहे है। बताया जा रहा है कि रोहिंग्या मुसलमान ज्यादातर जम्मू कश्मीर, हैदराबाद, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, दिल्ली एनसीआर और राजस्थान में रह रहे है। भारत में सबसे ज्यादा रोंहिग्या मुस्लिम जम्मू में बसे है, यहां करीब 10,000 रोंहिग्या मुस्लिम रहते है।
भारत सरकार के सामने 40 हजार रोहिंग्या मुस्लिमों की रोजी-रोटी से कहीं बड़ा सवाल देश की सुरक्षा का है, जो सर्वोपरि है। सरकार को रोटी, कपड़ा और मकान की दिक्कतों से जूझते रोहिंग्या आबादी के आतंकी संगठनों के झांसे में आसानी से आ जाने की आशंका है। सरकार को ऐसे खुफिया इनपुट भी मिले हैं कि पाकिस्तान से ऑपरेट कर रहे टेरर ग्रुप इन्हें अपने चंगुल में लेने की साजिश में लग गए है।
































































