68 मंत्रालयों/विभागों के तहत आने वाले इन 679 स्वायत्तशासी संस्थानों के लिए वित्त वर्ष 2017-18 में केंद्र सरकार ने कुल 72,206 करोड़ रुपये का बजट आवंटित किया है। जिन 42 संस्थानों को “हटाए” जाने का फैसला किया गया है उनमें से 24 को सोसाइटीज ऑफ रजिस्ट्रेशन एक्ट के तहत एक संस्था के अंतर्गत कर दिया जाएगा। दूसरे 11 स्वायत्तशासी संस्थानों का दूसरे संस्थानों के अंतर्गत कर दिया जाएगा। चार को बंद किया जाएगा और तीन का “कार्पोरेटाइजेशन” किया जाएगा।
आपको बता दें कि नीति आयोग इस महीने के अंत में दूसरे चरण की समीक्षा शुरु करने के लिए मीटिंग करेंगे। दूसरे चरण में भी सोसाइटीज ऑफ रजिस्ट्रेशन एक्ट के तहत निर्मित स्वायत्तशासी संस्थानों की समीक्षा की जाएगी। तीसरे चरण में सोसाइटीज ऑफ रजिस्ट्रेशन एक्ट के अलावा विभिन्न मंत्रालयों या विभागों के तहत बनाए गए स्वायत्तशासी संस्थानों की समीक्षा की जाएगी। केंद्र सरकार इन स्वायत्तशासी संस्थानों की जगह नए सेंटर ऑफ एक्सिलेंस और इंस्टीट्यूट ऑफ हायर लर्निंग सेंटर शुरू करना चाहती है।