हालांकि लल्लू को फिल्मों में मजा आ रहा है। उन्होंने कहा, ‘अगर जनता ने मेरे इस काम (अभिनय) को सराहा तो मैं आगे भी फ़िल्में करता रहूंगा।’ अपराधी के सवाल पर उन्होंने कहा, ‘राजनीति में आने के बाद उन पर फर्जी मुकदमे लगाए गए।’ उनके साथ काम करने वाले डायरेक्टर सुमित चावला ने कहा, ‘उनके अंदर मुझे वो आग दिखी जो बहुत कम लोगों के अंदर होता है। इनके साथ काम करने में मजा आ रहा है। फिल्म को लोग भी बहुत पसंद करेंगे।’
लल्लू यादव को भू-माफिया भी कहा जाता है। कथित तौर पर उन्होंने सूरजपाल यादव के शूटर का काम किया फिर राजनीति में आ गए। अब लल्लू यादव उर्फ पहलवान की चर्चा फिल्मों की वजह से हो रही है।
साल 1989 में पुराने लखनऊ के बाजारखाला के बिल्लौजपुरा में जल संस्थान के ठेके को लेकर माफिया और राजनेता अरुणशंकर शुक्ला उर्फ अन्ना के समर्थकों से लल्लू का विवाद हुआ था। इसमें दौरान गोलाबारी भी हुई थी। इस घटना के बाद राजाजीपुरम के मेंहदीखेड़ा निवासी लल्लू का नाम पहली बार सुर्खियों में आया था।