‘बीजेपी ने देश को पहुंचाया 10 लाख करोड़ का नुकसान’

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जीएसटी
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जीएसटी से जुड़े चार विधेयकों पर लोकसभा में जारी चर्चा के दौरान कांग्रेस नेता वीरप्पा मोइली ने कहा कि बीजेपी ने जीएसटी लागू करने में देर कर देश को करीब 10 लाख करोड़ रुपये का चूना लगाया है। मोइली ने कहा कि यूपीए सरकार इसे अप्रैल 2010 से ही लागू करना चाहती थी। अभी लोकसभा में जीएसटी से जुड़े चार बिलों पर चर्चा हो रही है। सोमवार को वित्त मंत्री अरुण जेटली ने सेंट्रल जीएसटी, इंटीग्रेटेड जीएसटी, यूनियन टेरिटरी जीएसटी और कॉम्पेंसेशन जीएसटी बिलों को एक साथ सदन के पटल पर रखा था।

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लोकसभा में चर्चा की शुरुआत करते हुए वित्त मंत्री जेटली ने इसे गेमचेंजर बताया और बिल के कुछ प्रावधानों का जिक्र किया। उन्होंने कहा कि जीएसटी के तहत खाने-पीने के जरूरे सामानों पर कोई टैक्स नहीं लगेगा। यानी, पहला टैक्स स्लैब शून्य होगा जबकि दूसरा स्लैब- 5% और तीसरा स्लैब 12% और 18% का है। जेटली ने कहा कि लग्जरी टैक्स स्लैब को दो भागों में बांटा गया है- टैक्स और सेस। इसमें टैक्स की दर 28 प्रतिशत होगी।

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वित्त मंत्री ने बताया कि जीएसटी लागू करने से शुरुआती 5 वर्षों तक जिन राज्यों को नुकसान होगा, उनकी भरपाई केंद्र सरकार करेगी। इस व्यवस्था की जानकारी देते हुए जेटली ने कहा, ‘अभी लग्जरी सामानों पर टैक्स की दर 40 से 65 प्रतिशत तक है। जीएसटी में हम ऐसे सामानों पर 28 प्रतिशत का टैक्स लेंगे। इसके बाद का हिस्से से एक बफर स्टॉक बनेगा जिससे उन राज्यों की मदद की जाएगी, जिन्हें जीएसटी से नुकसान होगा। इसके बाद भी फंड बच जाएगा तो केंद्र और राज्य सरकारों के बीच इसका बंटवारा हो जाएगा।’ जेटली ने कहा कि जीएसटी के तहत ही राज्यों के नुकसान की भरपाई का इंतजाम कर जनता को टैक्स के अतिरिक्त बोझ से बचा लिया गया।

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