आखिरकार धोनी ने खुद को क्यों कहा आंतकवादी और हत्यारा?

0
2 of 3
Use your ← → (arrow) keys to browse

धोनी ने कहा कि मैच हारना अपराध है

उन्होंने कहा कि जब टीम क्रिकेट मैच हारती है तो भारत में समझा जाता है कि वे ऐसे लोग हैं जिन्होंने कोई अपराध किया है या वे हत्यारे या आतंकवादी हैं। उन्होंने 2007 विश्व कप के पहले दौर से बाहर होने के बुरे समय को भी याद किया जब लोगों ने उनके घर पर पत्थर बरसाए थे। धोनी ने स्वीकार किया कि उनकी कप्तानी उनकी दिल की आवाज है। क्योंकि उन्होंने जीवन के अनुभव से काफी कुछ सीखा है। यह पूछने पर कि क्या वह खुद अपनी भूमिका निभा सकते थे तो धोनी ने कहा कि अभिनय काफी मुश्किल काम है। जिसे अभिनेताओं पर छोड़ देना चाहिए जिन्हें पता है कि क्या करना है।

इसे भी पढ़िए :  आतंकियों के मुंह पर तमाचा, पुलिस भर्ती में उमड़े कश्मीरी युवा

धोनी ने कहा कि खड़गपुर रेलवे स्टेशन में टीटीई के रूप में काम करने ने उन्हें कड़ा बनाया और वह बेहतर व्यक्ति बने। आत्मकथा के बारे में पूछने पर धोनी ने कहा कि किताब लिखने में अधिक प्रयास लगते हैं और ऐसा करने में समय लगेगा। उन्होंने कहा कि किताब अपना समय लेगी। किताब लिखने की धारणा असल में फिल्म से पहले आई थी लेकिन इसके लिए अधिक प्रयास की जरूरत है।

इसे भी पढ़िए :  नवाजुद्दीन ने कराया अपना ‘DNA टेस्ट’, वीडियो में देखिए क्या आया रिजल्ट
2 of 3
Use your ← → (arrow) keys to browse