दिल्ली
कांग्रेस ने कश्मीर घाटी में अशांति का समाधान ढूंढने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की वार्ता की अपील को यह कहते हुए खारिज कर दिया है कि वह ‘बिना सोचे समझे बोल’ रहे हैं।
पार्टी प्रवक्ता मनीष तिवारी ने यहां संवाददाताओं से कहा, ‘‘लगता है कि प्रधानमंत्री की बातें बदलती रहती हैं। सर्वदलीय बैठक में उन्होंने क्या कहा, स्वतंत्रता दिवस के भाषण में उनका बयान क्या था और आज वह वार्ता की बात कर रहे हैं लेकिन वार्ता किससे हो?’’ उन्होंने कहा, ‘‘संदेह है कि ये महज शब्द हैं, प्रधानमंत्री के लिए महज खोखले वादे। दुर्भाग्य से वह बिना सोचे समझे बोल रहे हैं और महज हवा में बातें कर रहे हैं।’’ उन्होंने कहा कि यह स्पष्ट नहीं है कि प्रधानमंत्री किससे बातचीत करना चाह रहे हैं। उन्होंने कहा, ‘‘जब आप वार्ता की बात करते हैं तो उन लोगों से बात जो आपसे दूर चले गए हैं। आप ऐसे लोगों से बात नहीं करते जो आपके साथ हैं और मुख्य धारा का हिस्सा हैं।’’ तिवारी ने कहा कि वित्त मंत्री अरूण जेटली का कल का बयान दर्शाता है कि उनके और प्रधानमंत्री के विचार मेल नहीं खाते। अरूण जेटली ने कल कहा था कि कश्मीर में पथराव में शामिल लोग ‘‘सत्याग्रही नहीं हैं बल्कि आक्रमणकारी हैं।’’ उन्होंने दावा किया कि कई केंद्रीय मंत्री अलग..अलग स्वर में बोल रहे हैं।
उन्होंने कहा, ‘‘वित्त मंत्री के बयान का सार है कि जम्मू..कश्मीर में कोई राजनीतिक समस्या नहीं है।’’ उन्होंने कहा कि जेटली के बयान का मतलब है कि वार्ता की कोई जरूरत नहीं है।