राज्यसभा में आज कांग्रेस सदस्यों ने इराक में दो साल पहले लापता हुए 39 भारतीय नागरिकों के बारे में सरकार से ताजा जानकारी की मांग की वहीं पार्टी सदस्य प्रताप सिंह बाजवा ने विदेश मंत्री सुषमा स्वराज पर इस मामले में सदन को ‘‘गुमराह’’ करने का आरोप लगाया।
पीटीआई की खबर के मुताबिक बाजवा ने शून्यकाल में यह मुद्दा उठाया। उन्होंने इसके साथ ही लुधियाना के तीन युवकों के लीबिया में फंसे होने का भी जिक्र किया और कहा कि दो साल पहले आईएसआईएस ने इराक में भारत के 40 लोगों का अपहरण कर लिया था जो मुख्य रूप से पंजाब, पश्चिम बंगाल और हिमाचल प्रदेश के थे। उन्होंने कहा कि उन लोगों में से एक किसी तरह भागने में सफल रहा था जिसका कहना था कि बाकी 39 लोगों को उसके सामने ही मार दिया गया।
बाजवा ने कहा कि लेकिन विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने उस समय यकीन दिलाया था कि सरकार के पास छह ऐसे सूत्र हैं जो बताते हैं कि वे लोग जीवित हैं। लेकिन आज तक उन 39 लोगों के बारे में कोई जानकारी नहीं मिली। उन्होंने कहा कि उनलोगों के परिवारों को सही स्थिति के बारे में बताया जाना चाहिए।
उन्होंने प्रधानमंत्री से मांग की कि जमीनी वास्तविकता का पता करने के लिए एक सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल इराक भेजा जाना चाहिए।
कांग्रेस की अंबिका सोनी ने भी इराक में लापता हुए 39 लोगों का मुद्दा उठाया। इस मुद्दे से संबद्ध करते हुए शिअद के नरेश गुजराल ने कहा कि विदेश मंत्री को इस संबंध में एक बयान देना चाहिए।
संसदीय कार्य राज्य मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा कि विदेश मंत्री सुषमा स्वराज खाडी देशों में फंसे लोगों को निकालने के लिए खुद ही प्रयासरत थीं। उन्होंेने बावजा से कहा कि अगर कोई विशिष्ट मामला है जो वह बताएं, सरकार उचित कदत उठाएगी। उपसभापति पी जे कुरियन ने भी बाजवा से कहा कि उनके पास जो भी जानकारी है, वह सरकार को उपलब्ध कराएं।