पाकिस्तान की आर्मी कोर्ट द्वारा भारतीय नेवी ऑफिसर कुलभूषण जाधव को कथित जासूस बताकर आर्मी की सजा सुनाये जाने के बाद से एक बार फिर से दोंनों देशों के बीच माहौल गरमा गया है। इस सब के बीच एक और खबर सामने आई है कि जाधव के लिए तालिबान और पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई के बीच करोड़ों डॉलर की डील हुई थी।
खबर के मुताबिक पिछले साल फरवरी में पहले तालिबान ने एक सुन्नी कट्टरपंथी संगठन की मदद से जाधव को ईरान से अगवा किया और आईएसआई के हाथों बेच दिया। पाक के इस प्रपंच की जानकारी पक्की हो जाने के बाद भारत कूटनीतिक स्तर पर ईरान के साथ इस सच्चाई को उजागर करने की कवायद में जुटा है।
अमर उजाला की खबर के मुताबिक भारत की इन्हीं कोशिशों के तहत ईरान ने पाक से जाधव तक राजनयिक पहुंच और पूछताछ की इजाजत मांगी है। खुफिया एजेंसी के उच्च पदस्थ सूत्र ने इसकी पुष्टि की है कि तालिबान आतंकियों के एक गुट ने ईरान-पाकिस्तान सीमा पर सक्रिय एक सुन्नी कट्टरपंथी गुट के मिलकर जाधव का अपरहण किया था।
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