नई दिल्ली। भारत ने ऑस्ट्रेलिया को 4-2 से हराकर 15 साल बाद जूनियर हॉकी वर्ल्ड कप के फाइनल में जगह बना ली है। क्वार्टर फाइनल में स्पेन को हराकर भारतीय खिलाड़ियों ने अंतिम चार में जगह बनाई थी। इस मैच के हीरो रहे विकास दहिया, जिनकी शानदार गोलकीपिंग की बदौलत भारत में ऑस्ट्रेलिया पर यह जीत दर्ज की। इससे पहले भारत ने जूनियर हॉकी वर्ल्ड कप साल 2000 में जीता था।
मैच के अखिरी तक दोनों टीमें 2-2 से बराबर थीं, इसके बाद पेनल्टी शूटआउट से इसका फैसला हुआ। इस दौरान विकास दहिया ने शानदार खेल दिखाया और ऑस्ट्रेलिया के पहले पांच में से तीन पेनल्टी शूआउट को शानदार तरीके से रोक मैच में जीत दिला दी।
लखनऊ के खचाखच भरे मेजर ध्यानचंद स्टेडियम में खेले गए सेमीफाइनल में पहला गोल ऑस्ट्रेलिया ने दागा और फर्स्ट हॉफ तक भारत पर बढ़त बनाकर रखी। सेकंड हॉफ में गुरजंत सिंह ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ गोल करके मुकाबले को बराबरी पर ला दिया।
इसके बाद मंदीप सिंह ने एक और गोल करके भारत को 2-1 की बढ़त दिला दी। लेकिन भारत इस बढ़त को ज्यादा देर तक कायम नहीं रख पाया और ऑस्ट्रेलिया ने दूसरा गोल करके स्कोर 2-2 पर बराबर कर दिया।
इसके बाद शूटआउट में मैच का फैसला निकला। गोलकीपर विकास दहिया की बदौलत भारत ने 4-2 से मैच अपने नाम कर लिया। फाइनल में भारत का मुकाबला अब बेल्जियम से होगा जिसने छह बार के चैम्पियन जर्मनी को शिकस्त दी है। विकास को उनकी शानदार गोलकीपिंग के लिए ‘मैन ऑफ द मैच’ का खिताब मिला।