इसी तरह भारत ने 2010 के एशियाई खेलों में भी ईरान को ही हराया था। भारतीय कप्तान अनूप कुमार ने थाईलैंड के साथ हुए मैच के बाद संवाददाता सम्मेलन में कहा,’हमने फाइनल की तैयारी पहले ही कर ली है। ईरान या फिर कोरिया कोई भी फाइनल में पहुंचता, हम उसके खिलाफ एक तरह की रणनीति के साथ मैट पर उतरते। हमारा लक्ष्य विश्व कप है और हम इसके काफी करीब हैं। हम अब कोई चूक नहीं करना चाहेंगे।’
इस विश्व कप में पाकिस्तान की गैरमौजूदगी और बांग्लादेश के खराब खेल के कारण ईरान ही खिताब का दूसरा सबसे बड़ा दावेदार बना रहा और इसे सच साबित करते हुए फाइनल में पहुच गया है। ग्रुप स्तर पर पोलैंड जैसी कमजोर टीम के खिलाफ हारने वाले ईरान को हालांकि सेमीफाइनल में कोरिया से काफी कड़ी टक्कर मिली। कोरियाई टीम सही मायने में एक सेमीफाइनलिस्ट की तरह खेली और यह जता दिया कि आने वाले समय में वह कबड्डी की शक्ति के रूप में उभरेगी।
फाइनल मैच को लेकर ईरानी कप्तान मिराज शेख ने कहा, ‘हम तैयार हैं। हम जानते थे कि सेमीफाइनल या फिर फाइनल में हमारा सामना भारत से होगा। कोरिया ने काफी अच्छा खेल दिखाया और भारत ने भी थाईलैंड को अपने अंदाज में बड़े अंतर से हराया। हम शनिवार को एक रोचक मुकाबले के लिए तैयार हैं।’