बर्बाद हो रहे शहर अलेप्पो में एक क्रिएटिव इंसान भी है, इनका काम देख कर आप सेल्यूट किए बिना नहीं रहेंगे

0
7 of 7Next
Use your ← → (arrow) keys to browse

अलेप्पो के अख़बारों की डिजिटल कॉपी तैयार करते समय 19वीं सदी के दस्तावेजों का भी आर्काइव्स तैयार किया गया। अल-सईद ने जितनी चीजों का डिजिटल संस्करण तैयार किया उनमें से ज्यादातर चीजें अब नष्ट हो चुकी हैं।

जब सीरिया का संघर्ष तेज होने लगा और उनके स्टूडेंट दोस्त उन्हें छोड़कर जाने लगे तभी अल-सईद का परिवार वहीं बने रहे। इसकी एक वजह यह भी थी कि वे अपनी किताबों से अलग होने के बारे में सोच नहीं सकते थे।

इसे भी पढ़िए :  रूस की अमेरीका को चेतावनी, ट्रंप को वोट दे अमेरिका, वरना परमाणु युद्ध

वह कहते हैं, “इनसे अलग होने बहुत मुश्किल है।” वे अब भी आर्काइव तस्वीरें कनाडा में मौजूद अपने एक दोस्त की मदद से अपलोड करते हैं। अल-सईद की ये आर्काइव तस्वीरें उनके लिए भी अहम हैं जो शहर में बने हुए हैं और उनके लिए भी जो यहां से जा चुके हैं।

इसे भी पढ़िए :  शरीफ ने कही भारत को बिजली देने की बात, पाकिस्तानी मीडिया बोली-'पहले हमें ही दे दो तब मोदी को देना'

जंग शुरू होने से पहले अलेप्पो में 20 लाख से ज्यादा बड़ी आबादी रहती थी लेकिन अब आंकड़ें बताते हैं कि यह आधी से भी कम रह गई है।
(खबर इनपुट बीबीसी हिंदी)

इसे भी पढ़िए :  डोनाल्ड ट्रंप: अमेरिका के विकास में हिंदुओं का बहुमूल्य योगदान
7 of 7Next
Use your ← → (arrow) keys to browse