सीरिया से लौटने के बाद जोआना ने एक इंटरव्यू में कहा था कि जब मैं पहली बार सीरिया गई तो मैं जंग लड़ने के लिए इतनी गंभीर नहीं थी। लेकिन जब मेरे सामने आतंकियों के हमले हुए तो मैं बदल गई। जिसके बाद मैंने ट्रेनिंग ली और जंग में पाया कि ISIS के आतंकियों को मारना आसान होता है।
इतना ही नहीं पलानी ने कुर्द लड़ाकों के साथ सीरिया में जंग लड़ने के दौरान कहा था कि कुर्द लड़ाके लोकतंत्र के लिए लड़ रहे हैं और अगर मैं पकड़ी गई या मारी गई तो मुझे खुद की मौत पर गर्व होगा। लेकिन इस लड़की को आतंक के खिलाफ जंग छेड़ने की बड़ी कीमत अपने ही देश डेनमार्क में चुकानी पड़ रही है। बगदादी के खिलाफ जंग लड़ने की वजह से जोआना को उसी के देश डेनमार्क में जेल भेज दिया गया है।
गौरतलब है कि डेनमार्क के नियमों के अनुसार उस देश का कोई नागरिक किसी दूसरे देश की सेना के साथ जाकर नहीं लड़ सकता। लेकिन जोआना पलानी खुद को नहीं रोक पाईं और आतंक के खिलाफ हो रही लड़ाई में कूद गई। फिलहाल जोआना जेल में हैं।