दिल्ली: नोटबंदी के बाद प्रधानमंत्री मोदी ने पहली बार एक प्रवाइवेट चैनल को दिए गए इंटरव्यू में इसपर हो रही आलोचना को दरकिनार कर दिया है।
8 नवंबर को 500 और हजार के नोट पर पाबंदी लगाने के बाद अपने पहले और इंडिया टुडे को दिए एक्सक्लूसिव इंटरव्यू में मोदी ने कहा कि विमुद्रीकरण ने कालेधन को खुले में ला दिया और साथ ही ये भी दावा किया कि यह फैसला कुछ समय के अप्रत्याशित लाभ के लिए नहीं बल्कि लंबी अवधि के संरचनात्मक बदलाव को देखते हुए लिए गए हैं।
आइए जानते हैं पीएम ने और क्या क्या कहा…
मोदी ने कहा, ‘आपको यह समझना होगा कि हमने विमुद्रिकरण का यह फैसला अल्पावधि के अप्रत्याशित लाभ के लिए नहीं, दीर्घावधि के संरचनात्मक परिवर्तन लाने के लिए लिया है। इसके पीछे हमारा उद्देश्य स्पष्ट रूप से अर्थव्यवस्था और समाज से काले धन की सफाई, अविश्वास को मिटाने, कृत्रिम दबाव और इससे जुड़ी अन्य बीमारियों का इलाज करने का था।’