धरती, आकाश के बाद… अब पानी में भी बजेगा भारत का डंका, INS अरिहंत बनकर तैयार

0
अरिहंत
Prev1 of 2
Use your ← → (arrow) keys to browse

चार दशकों के लंबे इंतजार के बाद आखिरकार भारतीय नौसेना के बेड़े में एक ऐसा आधुनिक यंत्र शामिल होने जा रहा है।जो पानी में भी दुश्मन के पसीने छुड़ाने में सक्षम होगा।जी हां बहुत जल्द भारत को INS अरिहंत का तोहफा मिलने जा रहा है। अत्याधुनिक स्वदेशी तकनीक से निर्मित परमाणु पनडुब्बी अरिहंत को चुपचाप रणनीतिक सैन्य कमान में शामिल कर लिया गया है। एक निजी टीवी चैनल की रिपोर्ट के अनुसार सैन्य कमान में पनडुब्बी को इस साल अगस्त में शामिल किया गया। इस खबर की स्वतंत्र रूप से पुष्टि नहीं हो पाई है लेकिन आधिकारिक तौर पर इसका खंडन भी नहीं किया गया है। नौसेना के अधिकारी ने रिपोर्ट की न तो पुष्टि की और न ही खंडन किया। उन्होंने सिर्फ इतना कहा कि अरिहंत परमाणु पनडुब्बी होने के नाते रणनीतिक सैन्य कमान का हिस्सा है।

इसे भी पढ़िए :  देश और दुनिया के पूरे घटनाक्रम पर एक नजर… बड़ी सुर्खियां और एक्सक्लूसिव खबरें, GOOD MORNING COBRAPOST में

देश की पहली स्‍वदेश निर्मित परमाणु पनडुब्‍बी आर्इएनएस अरिहंत को अगस्‍त में कमीशन दे दिया गया। दिसंबर 2014 से इसके गहन परीक्षण चल रहे थे। बताया जा रहा है कि 6 हजार टन वजनी अरिहंत हालांकि अभी तक पूरी तरह से तैनाती के लिए तैयार नहीं हैं।  रक्षा मंत्रालय और नेवी की ओर से भी इस बारे में कोई जानकारी नहीं दी गई है।

इसे भी पढ़िए :  तीन पाकिस्तानी घुसपैठिए ढेर, तीन पकड़े गए

भारत परमाणु हथियार ले जाने में सक्षम अग्नि बैलिस्टिक मिसाइल और लड़ाकू विमानों को सैन्‍य बेड़े में शामिल कर चुका है लेकिन नौसेना के क्षेत्र में यह कार्य बाकी था। यह पनडुब्‍बी 83 एमडब्‍ल्‍यू प्रेशराइज्‍ड लाइट वाटर रिएक्‍टर पर काम करती है। इसके जरिए 750 और साढ़े तीन हजार किलोमीटर दूर तक निशाना लगाया जा सकेगा।

इसे भी पढ़िए :  पाकिस्तान और बांग्लादेश की सीमा पर लगाए जाएगें स्मार्ट बाड़े

हालांकि अमेरिका, रूस और चीन की तुलना में यह क्षमता कम है। इन देशों के पास 5000 किलोमीटर तक मार कर सकने वाली सबमैरीन लॉन्‍चड बैलिस्टिक मिसाइलें (एसएलबीएम) हैं।

arhint

अगले स्लाइड मेंं पढ़ें-आईएनएस अरिहंत की खासियत

Prev1 of 2
Use your ← → (arrow) keys to browse