नई दिल्ली। पश्चिम बंगाल के दक्षिण 24 परगना जिले के भांगड़ इलाके में भूमि आंदोलन को लेकर सोमवार(16 जनवरी) से ही रणक्षेत्र में तब्दील हो गया है। लेकिन विद्युत सब स्टेशन के लिए जमीन अधिग्रहण के खिलाफ, सब-स्टेशन को बंद करने व पुलिस अत्याचार के खिलाफ मंगलवार(17 जनवरी) को यह आंदोलन हिंसक रूप अख्यितार कर लिया।
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, पुलिस और ग्रामीणों के बीच 30 घंटे से अधिक समय से जारी इस संघर्ष में कथित तौर पर पुलिस फायरिंग में दो की मौत हो गई है, जबकि 20 से अधिक लोग घायल बताए जा रहे हैं। मृतकों की पहचान मफीजुल खान और आलमगीर के रूप में हुई है।
हालांकि, फायरिंग किसने की यह अभी स्पष्ट नहीं हुआ है। आईजी (कानून-व्यवस्था) अनुज शर्मा ने दावा किया कि पुलिस की ओर से फायरिंग नहीं की गई। बाहरी लोगों ने गोली चलाई है। मृतकों के परिजनों का कहना है कि इलाके के बाहुबली तृणमूल नेता अराबुल इस्लाम के लोगों ने गोली चलाई है। इधर अराबुल इस्लाम ने मृतकों के परिजनों के आरोप को झूठा बताया है।
आपको बता दे कि पावरग्रिड की ओर 400/220 केवी के गैस संचालित सब-स्टेशन का निर्माण किया जा रहा है। यह 953 किलोमीटर हाई वोल्टेज ट्रांसमिशन लाइन का हिस्सा है, जिसके जरिए पश्चिम बंगाल के फरक्का से बिहार के कहलगांव तक बिजली की आपूर्ति होगी।
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