भारत-पाकिस्तान के बीच लगातार संघर्ष के चलते मोदी सरकार ने हथियारों के सप्लायर्स से कहा कि आप तैयार रहो। हथियारों के सप्लायर्स को कहा गया है कि आपातकाल की स्थिति में जरूरत पड़ने पर हथियारों की कमी नहीं पड़नी चाहिए। आपूर्तिकर्ताओं से हथियारों को अभी से तैयार करने को कह दिया गया है।
रक्षा सूत्रों से जानकारी मिली है कि हथियारों के आपूर्तिकर्ताओं को सरकार के शॉर्ट नोटिस पर हथियार सप्लाई करने पड़ सकते हैं। 29 सितंबर यानी सर्जिकल स्ट्राइक से एक दिन पहले वित्त मंत्री अरुण जेटली पहले ही साफ कर चुके हैं कि रक्षा हितों को देखते हुए रक्षा बजट में इजाफा किया जा सकता है।
अरुण जेटली ने एक बैंक कॉन्फ्रेंस में कहा था कि भारत में जितने भी वैश्विक आयोजन होते हैं। उनके लिए सुरक्षा का बंदोबस्त करना बड़ी चुनौती होती है। सुरक्षा के लिहाज से यह चुनौती तय कैसी होगी, यह तय नहीं होता। ऐसे में सुरक्षा में कोई कोताही न हो, यह हमारी प्राथमिकता में होता है।
भारत-चीन से सटी सीमा पर सेना की नई यूनिट की तैनाती के चलते गोला-बारूद और छोटे हथियारों की आपूर्ति पर्याप्त नहीं बताई जा रही है। रक्षा सूत्रों की मानें तो सेना के पास छोटे हथियारों और गोला-बारूद की भारी कमी है, जिसे सेना जल्द से जल्द पूरा करना चाहती है।