रेलवे और आईआरसीटीसी ने ट्रांसजेंडर को ‘तीसरे लिंग’ के रूप में शामिल किया

0
ट्रांसजेंडर
Prev1 of 2
Use your ← → (arrow) keys to browse

भारतीय रेलवे और आईआरसीटीसी ने टिकट आरक्षण और टिकट रद्द कराने वाले फॉर्म में तीसरे लिंग का भी ऑप्शन होगा। ट्रांसजेंडर को तीसरे लिंग के तौर पर शामिल किया गया है। एक अधिवक्ता के आवेदन पर यह निर्णय लिया गया। टिकट आरक्षण और रद्द कराने के अलावा यह सुविधा ऑनलाइन और ऑफलाइन भी उपलब्ध होगी।

इसे भी पढ़िए :  सर्जिकल स्ट्राइक का बदला लेने के फिराक में 250 आतंकवादी सक्रिय, खबर मिलने के बाद सेना मुस्तैद

दिल्ली हाईकोर्ट ने फरवरी में दिल्ली के एक अधिवक्ता से अपनी याचिका पर कार्रवाई के लिए रेलवे मंत्रालय से संपर्क करने को कहा था। मंत्रालय ने शीर्ष न्यायालय के अप्रैल-2014 के निर्देशों के संदर्भ देते हुये बताया कि हिजड़ा, किन्नर और बाइनरी के अधिकारों की रक्षा के लिए अब उन्हें तीसरे लिंग के रूप में माना जाएगा।

इसे भी पढ़िए :  अश्विनी लोहानी बने रेलवे के नए चेयरमैन

गौरतलब है सुप्रीम कोर्ट ने अपने निर्णय में संविधान के तृतीय भाग और संसद के द्वारा बनाए गए कानून के तहत हिजड़ा और किन्नर के साथ-साथ बाइनरी के अधिकारों की रक्षा के लिए उन्हें तीसरे लिंग के रूप में मान्यता देने का निर्देश दिया था। परिपत्र में कहा गया, ‘निर्देशों के तहत टिकट आरक्षण, रद्द कराने के फार्म में महिला और पुरुष के साथ-साथ ट्रांसजेंडर का विकल्प भी शामिल करने का निर्णय किया गया है। प्रणाली में यह सूचना दर्ज कर ली जाएगी, जबकि उन्हें पूरी कीमत पर टिकट जारी किया जाएगा।’

इसे भी पढ़िए :  सोशल मीडिया पर सरकार की पैनी नजर, फेसबुक से 8,290 खातधारकों की मांगी जानकारी
Prev1 of 2
Use your ← → (arrow) keys to browse