उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावों में मिली करारी शिकस्त के बाद कांग्रेस ने अपने चुनावी राजनीतिकार प्रशांत किशोर को बाहर का रास्ता दिखा दिया है। अब सुनने में आ रहा है कि कांग्रेस से नाराज होकर प्रशांत किशोर आंध्र प्रदेश में अपने लिए नई पार्टी की तलाश कर रहे हैं, जिसमें रहकर वे उस पार्टी के लिए चुनावी राणनीति तैयार कर सकें। पंजाब में कांग्रेस की सरकार बनने के बाद और गोवा में बीजेपी से ज्यादा सीट मिलने के बावजूद प्रशांत किशोर पर कांग्रेस को भरोसा नहीं रहा है। प्राप्त जानकारी के अनुसार प्रशांत किशोर अब जगन मोहन रेड्डी की पार्टी वाईएसआर कांग्रेस पार्टी के लिए चुनावी रणनीति तैयार करेंगे।
इसके लिए प्रशांत किशोर और रेड्डी की बीट बातचीत हो चुकी है। किशोर पार्टी के लिए अपनी टीम में तेलुगु भाषा बोलने वाले लोगों को शामिल करने की तैयारी कर रहे हैं। आपको बता दें कि आंध्र प्रदेश में 2019 में विधानसभा चुनाव होंगे। चुनाव होने से दो साल पहले ही जगन रेड्डी की पार्टी ने अपनी जीत दर्ज कराने के लिए काम करना शुरु कर दिया है। बताया जा रहा है कि प्रशांत किशोर पार्टी के नए कार्यलय और रेड्डी के नए निवास स्थान की तलाश कर रहे हैं। चुनावी रणनीति तैयार करते हुए रेड्डी ने राज्य में सर्वे कराना भी शुरु कर दिया है, जिससे की वे जान सके की जनता की क्या राय है। जनता की राय जानने के बाद वे वाईएसआर कांग्रेस पार्टी के लिए चुनावी रणनीति तैयार करेंगे।
इससे पहले खबर आ रही थी कि यूपी, उत्तराखंड. मणिपुर और गोवा में कांग्रेस भले ही सरकार न बना पाई हो लेकिन वे गुजरात चुनावों में किसी तरह की कसर नहीं छोड़ना चाहती है। कांग्रेस प्रशांत किशोर को ही गुजरात चुनाव के लिए रणनीति तैयार करने की जिम्मेदारी सौंप रही थी जबकि पार्टी के कई वरिष्ठ नेताओं ने बाकी राज्यों में मिली हार का ठीकरा किशोर पर फोड़ा था। इसे लेकर कांग्रेस का कहना था कि भले ही यूपी में प्रशांत किशोर द्वारा बनाई गई चुनावी रणनीति कारगर साबित नहीं हुई हो लेकिन पंजाब में मिली जीत के पीछे किशोर ने अहम भूमिका निभाई थी।