बीजेपी के एक बड़े नेता ने कहा कि मोदी और पार्टी प्रेजिडेंट अमित शाह के साथ संवेदनशील नियुक्तियों पर चर्चा की जाएगी। चीफ सेक्रेटरी और डायरेक्टर जनरल ऑफ पुलिस ऐसे अपॉइंटमेंट्स हो सकते हैं। हालांकि, इसमें मुख्यमंत्री के सुझावों का ध्यान रखा जाएगा। उन्होंने यह भी कहा कि ऐसी नियुक्तियों में भी आम सहमति बनाने की कोशिश होगी। इस नेता ने कहा कि मुख्यमंत्री पर कुछ भी थोपा नहीं जाएगा। एक बड़े अधिकारी ने बताया कि केंद्र सरकार पॉलिसी को लेकर एक आइडिया दे सकता है। उन्होंने कहा कि यूपी की अहमियत को देखते हुए अगर राज्य सरकार कोई राय मांगती है तो उसका जवाब केंद्र तुरंत देगा।
पार्टी के एक अन्य नेता ने बताया कि योगी आदित्यनाथ को सरकार को चलाने की छूट होगी और दूसरे अपॉइंटमेंट्स वही करेंगे। उन्होंने कहा कि बीजेपी शासित राज्यों के नेता केंद्र के साथ तालमेल रखते हैं और यूपी के साथ भी ऐसा ही होगा। उन्होंने बताया, ‘हम मध्य प्रदेश सरकार के काम में दखलंदाजी नहीं करते, फिर यूपी में हमें ऐसा क्यों करना चाहिए।’ पार्टी के शीर्ष नेतृत्व की सोच से वाकिफ बीजेपी के कई नेताओं ने कहा कि आदित्यनाथ सरकार पार्टी घोषणापत्र की अहमियत समझती है। प्रदेश बीजेपी नेताओं से राय करके इसे तैयार किया गया था। इसके लिए आदित्यनाथ की भी राय ली गई थी। राज्य सरकार के लिए यही शुरुआती गाइडलाइन होगी।