पाक खुफिया एजेंसी आईएसआई ने हिंदू रीति रिवाजों का प्रशिक्षण देकर एजेंटों को हिंदू आबादी में प्रवेश करवाने के लिए ऑपरेशन कृष्णा इंडिया शुरू किया था। इन एजेंटों को भी उसी का हिस्सा माना जा रहा है। आईएसआई की योजना इन एजेंटों को साधु वेश् में धार्मिक स्थलों में स्थापित करने की है, ताकि वह अपना काम आसानी से कर सकें। उसके बाद यह लोग धार्मिक विद्वेष फैलाने के साथ ही किसी बड़ी घटना को अंजाम देने की रणनीति बना सकते हैं।
वहीं मार्च में पकड़ा गया इस्लामिक स्टेट के खुरसाना मॉडयूल का मास्टरमाइंड गौस मोहम्मद लखनऊ में हिंदू पहचान के साथ करन खत्री के नाम से किराए के मकान में रहता था। 12 सितंबर 2014 को बिजनौर में हुए आईईडी ब्लॉस्ट की घटना में मारे गए सिमी आतंकियों (खंडवा जेल से फरार हुए थे) के हाथ में भी कलावा और माथे पर तिलक मिला था। फिलहाल खुफिया एजेंसियां अब यूपी में दाखिल एजेंट्स को भी इन्हीं आतंकियों की कड़ी का हिस्सा मानकर छानबीन कर रही हैं।