नई दिल्ली। टाटा समूह में साइरस मिस्त्री को हटाए जाने का विवाद अब निम्न स्तर पर पहुंच चुका है। टाटा ग्रुप की मुख्य होल्डिंग कंपनी टाटा संस ने पूर्व चेयरमैन सायरस मिस्त्री के मंशा पर सवाल उठाते हुए गुरुवार(10 नवंबर) को उन पर समूह का भरोसा तोड़ने का आरोप लगाया।
टाटा संस ने कहा कि मिस्त्री समूह की प्रमुख कारोबारी कंपनियों पर अपना नियंत्रण करने की कोशिश कर रहे थे। नौ पन्नों के पत्र में मिस्त्री को परोक्ष रूप से नकारा करार देते हुए कहा गया कि उन्होंने समूह को आगे बढ़ाने की ईमानदारी से कोशिश ही नहीं की।
आपको बता दें कि मिस्त्री अब भी समूह की कई बड़ी कंपनियों के चेयरमैन पद पर बने हुए हैं। टाटा संस ने नौ पन्नों के एक बयान में मिस्त्री के उस पत्र का बिंदुवार खंडन किया है, जो कि उन्होंने 24 अक्तूबर को कंपनी के निदेशक मंडल के सदस्यों को भेजा था।
टाटा संस ने आरोप लगाया है कि मिस्त्री स्वतंत्र निदेशकों का इस्तेमाल करते हुए इंडियन होटल्स कंपनी लिमिटेड का नियंत्रण हासिल करने की कोशिश कर रहे हैं। यह कंपनी टाटा ग्रुप के ताज ब्रैंड के होटलों का परिचालन करती है।
मालूम हो कि मिस्त्री को पिछले महीने टाटा संस के चेयरमैन पद से अप्रत्याशित रुप से हटा दिया गया था। तब से मिस्त्री और रतन टाटा के नेतृत्व वाले 100 अरब डॉलर से अधिक के समूह के बीच आरोप प्रत्यारोप का दौर चल रहा है।