भारत ने मसूद को आतंकी घोषित नहीं करने को लेकर UN पर साधा निशाना

0
फाइल फोटो।

नई दिल्ली। आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद के सरगना मसूद अजहर को संयुक्त राष्ट्र द्वारा प्रतिबंधित कराने के प्रयास में चीन की ओर से फिर अवरोध पैदा किए जाने के बाद भारत ने पाकिस्तान आधारित आतंकी संगठनों और उनके नेताओं को आतंकवादी घोषित करने के संदर्भ में अनिर्णय की स्थिति में रहने को लेकर संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद पर निशाना साधते हुए उसे ‘अनुत्तरदायी’ करार दिया है।

इसे भी पढ़िए :  आतंकी सरगना मसूद अज़हर की ललकार, भारत को सिखाओ ऐसा सबक की भूल जाए 1971 की हार का गम

संयुक्त राष्ट्र में भारत के स्थायी प्रतिनिधि सैयद अकबरूद्दीन ने बुधवार(5 अक्टूबर) को संयुक्त राष्ट्र महासभा से कहा कि 15 सदस्यीय सुरक्षा परिषद इस ‘मुख्य इकाई’ का मकसद शांति एवं सुरक्षा बरकरार रखने का था, लेकिन ‘यह हमारे समय की जरूरतों को लेकर कई तरह से ‘अनुत्तरदायी’ बन चुकी है और अपने समक्ष खड़ी चुनौतियों से निपटने में निष्प्रभावी है।’

इसे भी पढ़िए :  गृह मंत्रालय ने आंतकी मसूद अजहर के खिलाफ याचिका दायर करने की मंजूरी दी

चीन का नाम लिए बगैर अकबरूद्दीन ने अजहर के खिलाफ भारत के प्रयास पर बीजिंग की ओर से ‘तकनीकी रोक’ लगाए जाने का हवाला दिया और कहा कि ‘सुरक्षा परिषद ने इसी सोच-विचार में छह महीने लगा दिए कि क्या उन संगठनों के नेताओं को प्रतिबंधित करना है जिनको उसने खुद आतंकी इकाइयां घोषित किया था’।

उन्होंने कहा कि ‘‘इसके बाद वह फैसला नहीं करती। वह इस मुद्दे पर आगे विचार के लिए तीन महीने का समय और देती है। किसी को भी सिर्फ यह जानने के लिए नौ महीने के बेसब्री से प्रतीक्षा करनी पड़ती है कि क्या परिषद ने इस एकमात्र मुद्दे पर फैसला किया या नहीं।’’ इससे पहले भी भारत ‘भेदभावपूर्ण रवैये’ को लेकर संयुक्त राष्ट्र की प्रतिबंध समिति पर निशाना साध चुका है।

इसे भी पढ़िए :  सलमान के कमेंट को अनुराग कश्यप ने बताया मूर्खतापूर्ण