रियो ओलंपिक में इतिहास रचने वाली भारतीय जिम्नास्ट दीपा करमारकर तोहफे में मिली BMW को लौटने वाली हैं। दीपा करमारकर अपने धमाकेदार प्रदर्शन से रियो ओलंपिक 2016 के फ़ाइनल में प्रवेश करने वाली पहली भारतीय जिम्नास्ट बनी थी। वो मामूली से फर्क से कांस्य पदक जीतने से चूक गईं थी, और उन्हें चौथे स्थान पर ही सब्र करना पड़ा था।
दीपा को रियो में अपने शानदार प्रदर्शन पर हैदराबाद जिला बैडमिंटन संगठन के अध्यक्ष वी. चामुुंडेश्वरनाथ की तरफ से भारत के पदक विजेता खिलाडि़यों पीवी सिंधु, साक्षी मलिक और सिंधु के कोच पुलेला गोपीचंद के साथ बीएमडब्ल्यू कार प्रदान की गई थी। मास्टर ब्लास्टर सचिन तेंदुलकर के हाथों उन्हें यह कार तोहफे के रूप में दी गई थी।
दीपा के परिजनों से ज्ञात हुआ कि दीपा इस तोहफे को लौटाना चाहती है क्योंकि इतनी महंगी कार को मैंटेन करना उनके लिए आसान नहीं है। उनका परिवार अगरतला में एक छोटे शहर में रहता है जहां उनके लिए इसे चला पाना भी मुश्किल है।
दीपा इस समय नवंबर में जर्मनी में होने वाले एक्सपोजर टूर और चैलेंजर्स कप में हिस्सेदारी को लेकर चल रही अनिश्चितता को लेकर परेशान है। जिम्नास्टिक्स महासंघ ने दीपा के कोच बिश्वेश्वर नंदी को सूचित किया है कि यदि भारत की छह सदस्यीय टीम चैलेंजर्स कप में भाग लेगा तो ही दीपा को उसमें खेलने दिया जाऐगा। नंदी ने कहा कि स्पर्धा में हिस्सेदारी के लिए हमारी कम से कम तीन सदस्यीय टीम को हिस्सा लेना होगा।
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