उत्तर प्रदेश में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनावों से पहले पार्टी का प्रचार करते हुए भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने विपक्षी दलों पर हमला बोला। शनिवार को उन्हों ने कहा कि यदि सपा सत्ता में लौटी तो एक जाति विशेष के लिए ही काम करेगी। वहीं बसपा केवल अपने विकास के लिए काम करेगी किसी जाति के लिए नहीं।
इस दौरान शाह ने मोहनलालगंज से भाजपा सांसद कौशल किशोर के घर पर लंच भी किया। भाजपा सांसद ने दलितों के लिए लंच का आयोजन किया था। किशोर ने आरोप लगाया कि भाजपा के विपक्षी दलितों पर अत्याचार कर रहे हैं और दोष भाजपा पर मढ़ रहे हैं।
इधर, मायावती ने अमित शाह के लंच के बाद पलटवार करते हुए इसे राजनीतिक नाटक करार दिया। उन्हों ने कहा कि कांग्रेस नेता भी इस तरह की हरकतें कई बार कर चुके हैं।
मायावती ने कहा, ”इस तरह के नौटंकियों का ही नतीजा है कि दलितों पर अब भी अत्याचार होते हैं। भाजपा और मोदी सरकार के लिए यूपी विधानसभा चुनाव चुनौती से जीने-मरने का सवाल बन गए हैं। उन्हें पता है कि दलित भाजपा के खिलाफ संगठित हैं।” इससे पहले काकोरी शहीद स्मारक पर रैली को संबोधित करते हुए शाह ने कहा कि भाजपा को वोट देकर यूपी को अपना अधूरा काम पूरा करना चाहिए।
उन्होंने कांग्रेस पर हमला बोलते हुए कहा कि देश में कोई विकास नहीं हुआ क्यों कि 70 में से 60 साल तक एक ही पार्टी का राज था।” शाह ने कहा, ”क्या उत्तर प्रदेश का विकास सपा और बसपा के शासन में हो सकता है? क्या ये बुलंदशहर और मथुरा जैसी घटनाएं रोक सकते हैं? क्या युवाओं के लिए रोजगार हो सकते हैं? क्या सभी गांवों में एंबुलेंस हो सकती है? क्या? बड़े उद्योग यहां आ सकते हैं? क्या गुंडाराज खत्म हो सकता है?”
अमित शाह तिरंगा यात्रा के तहत ‘आजादी के 70 वर्ष: जरा याद करो कुर्बानी’ कार्यक्रम के तहत काकोरी गए थे। उन्होंने कहा कि केशव प्रसाद मौर्य ने उनसे काकोरी मेमोरियल को पर्यटन स्थील के रूप में विकसित करने को कहा है। इस बात को प्रधानमंत्री तक पहुंचाऊंगा।