रिपोर्ट में कहा गया है कि इस घटना के दौरान भाजपा के कुछ अन्य सदस्यों ने बीच बचाव किया था। इस मामले में औपचारिक तौर पर किसी पक्ष की ओर से शिकायत नहीं की गयी है। बिहार विधान परिषद की गुरुवार की कार्यवाही शुरू होने पर जदयू सदस्या रीना देवी ने सदन में इस मामले को उठाया। इसके अलावा राजद नेत्री राबड़ी देवी ने भी अपनी सीट से खड़े होकर रीना की बात का समर्थन करते हुए उचित कार्रवाई की मांग की।
सदन में जब यह मामला उठाया गया उस समय नूतन सिंह मौजूद नहीं थीं, पर लालबाबू प्रसाद सदन में मौजूद और वे चुप बैठे हुए थे। सभापति ने उचित निर्णय लेने का आश्वासन दिया और कहा कि वे अपने कार्यकाल को कलंकित नहीं होने देंगे। इस बीच, बिहार विधान परिषद में भाजपा सदस्य लालबाबू प्रसाद को गुरुवार देर शाम जारी पार्टी की प्रदेश कार्यसमिति में स्थान नहीं दिया गया। लालबाबू का नाम पार्टी के प्रदेश उपाध्यक्ष की सूची में था, जो उक्त सूची से गायब है। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष नित्यानंद राय के नेतृत्व नयी प्रदेश कार्यसमिति में 11 उपाध्यक्ष बनाया गया है जिसमें लालबाबू का नाम गायब है।