आज देश के 14वें राष्ट्रपति का चुनाव किया जा रहा है। इस दौरान बीएसपी सुप्रीमों मायावती की पार्टी बहुजन समाज पार्टी दलितों की पार्टी समझी जाती है और उनका आधार वोट बैंक भी दलित ही माने जाते हैं। ऐसे में मायावती के लिए किसी भी उम्मीदवार के खिलाफ खुलकर बोलना आसान नहीं है। इसलिए वोटिंग से पहले जब मायावती से पूछा गया कि तो उन्होंने कहा कि दोनों दलित वर्ग से हैं और जो भी जितेगा, खुशी होगी।
मायावती ने कहा, “इस बार दोनों तरफ से एनडीए और यूपीए ने राष्ट्रपति पद के लिए दलित को मैदान में उतारा है, ये पहला मौका है जब दोनों तरफ से दलित उम्मीदवार हैं। चुनाव में हार जीत होती है। खुशी की बात है कि दोनों में से कोई जीते। दलित वर्ग का आदमी देश का राष्ट्रपति बनेगा। ये हमारी पार्टी और मूमेंट के लिए बहुत अच्छी बात है।”
हालांकि, मायावती ने ये भी साफ किया है ये बहुजन समाज पार्टी की मुहिम का असर है कि दोनों पार्टियों को दलित उम्मीदवार उतारने पड़े।