दिल्ली
पाकिस्तान ने अशांत बलूचिस्तान प्रांत के क्वेटा में हाल में हुए आत्मघाती बम विस्फोट के लिए ‘विदेशी तत्वों’ को दोषी ठहराया। हमले में 74 लोगों की मौत हो गयी, जिसमें अधिकतर वकील थे।
दावा करते हुए कि भारत पाकिस्तान में अस्थिरता भड़का रहा है, विदेश कार्यालय के प्रवक्ता नफीस जकारिया ने कहा, ‘‘भारतीय खुफिया एजेंसियां पाकिस्तान में खासकर बलूचिस्तान और कराची में विध्वंसकारी गतिविधियों में संलिप्त है।’’ जकारिया ने कहा कि आतंकवाद में भारतीय हाथ के पाकिस्तानी रूख की पुष्टि भारतीय नौसैन्य अधिकारी कुलभूषण जादव के इकबालिया बयान से हुयी जिन्हें आतंकवाद फैलाने का कथित तौर पर नेटवर्क चलाने के लिए इस साल बलूचिस्तान से गिरफ्तार किया गया था।
जकारिया ने इन भारतीय आरोपों को भी खारिज कर दिया कि एलओसी के करीब आतंकियों के घुसपैठ को पाकिस्तानी सेना की सहायता प्राप्त थी।
उन्होंने कहा, ‘‘हमारा इस पर साफ रूख है और किसी भी देश के खिलाफ हम अपनी सरजमीं का इस्तेमाल नहीं होने देंगे।’’ आगे उन्होंने कहा कि पाकिस्तान आतंकवदी गुटों के बीच कोई भेदभाव नहीं करता और लगातार सैन्य प्रयासों के जरिए उनको निशाना बनाता है।
प्रवक्ता ने, ‘‘कश्मीर में लगातार मानवाधिकार उल्लंघन’’ पर भी चिंता प्रकट की और अंतरराष्ट्रीय समुदाय से इसके खिलाफ आवाज उठाने को कहा।