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वो आम लोगों में उसकी लोकप्रियता कितनी थी ये इस बात से पता चलता है कि जब 1986-87 में लतीफ ने अहमदाबाद की पांच नगरपालिका सीटों (दरियापुर, जमालपुर, कालुपुर, राखांड़ और शाहपुर) से चुनाव लड़ा तो उसे सभी पर जीत मिली। हैरानी की बात ये है कि जब लतीफ ने चुनाव लड़ा और जीता तो असामाजिक गतिविधियों के आरोप में जेल में बंद था।
गुजरात में हुई कई हत्याओं में वांछित और मुंबई बम धमाकों में अभियुक्त लतीफ 1992 में दुबई के रास्ते पाकिस्तान भाग गया था। 1995 में जब वो भारत वापस आ गया। नवंबर 1995 में गुजरात एंटी-टेररिज्म स्क्वायड ने लतीफ को पुरानी दिल्ली के एक पीसीओ बूथ से गिरफ्तार किया। लतीफ करीब दो साल तक साबरमती जेल में रहा। पुलिस के अनुसार नवंबर 1997 में लतीफ ने भागने की कोशिश की और पुलिस मुठभेड़ में मारा गया।
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