आरक्षण की मांग को लेकर शुक्रवार से राजस्थान में चक्काजाम कर दिया है। भरतपुर में जाट आरक्षण आंदोलन को लेकर एक दिन पहले से ही मथुरा-अलवर रेल मार्ग पर जाम लगा दिया है। भरतपुर-कुम्हेर मार्ग की कंजोल लाइन पर भी जाटों ने ट्रक लगाकर जाम लगा रखा है। बहज रेलवे स्टेशन पर भी कांग्रेस विधायक विश्वेंद्र सिंह की अगुवाई में जाट एकजुट हो गए हैं।
सूत्रों के मुताबकि, भरतपुर-धौलपुर के जाटों को आरक्षण देने की मांग को लेकर जाट समुदाय ने विरोध करते हुए शाम को भरतपुर जिले के डीग के पास बहज गांव में जयपुर-दिल्ली रेलवे ट्रैक पर कब्जा कर लिया है। जिसके बाद रेलवे ने भारी माल गाड़ियों को तुरंत ट्रैक पर जाने से रोक दिया।
इससे पहले रारह गांव में हुई महापंचायत में कांग्रेस विश्वेन्द्र सिंह विधायक ने कहा कि दोनों जिलों के जाटों की आर्थिक स्थिति काफी खराब है। जाट समाज सरकार से काफी समय से आरक्षण की मांग कर रहा है, लेकिन कोई ध्यान नहीं दिया गया। इसलिए अब आंदोलन करना पड़ा। उन्होंने कहा कि आरक्षण मिलने तक रेलवे यातायात जाम रहेगा।
आप को बता दें कि सिंह ने पहले 23 जून से आंदोलन शुरू करने की घोषणा की थी, लेकिन अचानक महापड़ाव को संबोधित करते हुए गुरुवार से ही रेलवे ट्रैक जाम करने की घोषणा कर दी। इधर, अन्य पिछड़ा वर्ग आयोग ने गुरुवार दोपहर मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे को भरतपुर व धौलपुर के जाटों को आरक्षण देने की सिफारिश करते हुए रिपोर्ट सौंप दी। आयोग के चेयरमैन डॉ. जितेंद्र गोयल सहित अन्य सदस्यों ने रिपोर्ट के बारे में संक्षिप्त जानकारी भी सीएम को दी। वहीं, सरकार की ओर से आंदोलनकारियों को यह संदेश भेजा गया है कि ओबीसी आयोग की रिपोर्ट मिल गई जिसमें भरतपुर व धौलपुर के जाटों को आरक्षण देने की बात कही गई है। सरकार शीघ्र इस पर निर्णय लेगी जो जाटों के पक्ष में होगा। आयोग की आरक्षण को लेकर इस 250 पेज की रिपोर्ट के बाद जाट जल्द से जल्द सरकार का फैसला चाहते हैं।