‘सामना’ में प्रकाशित विवादित कार्टून को लेकर उद्धव ठाकरे ने मांगी माफी

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फाइल फोटो।

नई दिल्ली। शिव सेना के अध्यक्ष उद्धव ठाकरे ने ‘‘सामना’’ में मराठा रैलियों से जुड़े एक कार्टून के प्रकाशित होने पर शनिवार(1 सितंबर) को माफी मांगी। कार्टून के प्रकाशित होने के बाद विवाद पैदा हो गया था और पार्टी को मराठा समुदाय तथा राजनीतिक दलों की नाराजगी का सामना करना पड़ रहा था। समाचार पत्र के कार्यालय पर हमला भी किया गया था।

शिवसेना के मुखपत्र सामना में वह विवादित कार्टून पिछले रविवार को प्रकाशित हुआ था और उसमें मराठा समुदाय द्वारा निकाले जा रहे मौन मार्च का जिक्र किया गया था।

ठाकरे ने एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि ‘‘कार्टून को लेकर विवाद भले ही समाप्त हो गया हो, लेकिन मेरा दिल अब भी परेशान है। मैं काफी दुखी हूं, क्योंकि कोई शिव सैनिक कभी महिलाओं को अपमानित नहीं कर सकता, जिनकी हम पूजा करते हैं। मैं लोगों का शुक्रगुजार हूं कि उन्होंने इस विवाद के बाद भी शिवसेना के प्रति अपने भरोसे में कमी नहीं आने दी।’’

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उन्होंने कहा कि ‘‘शिवसेना के अध्यक्ष और सामना के संपादक के रूप में, मैं सभी माताओं और बहनों से माफी मांगता हूं, जिनकी भावना अनायास ही इस कार्टून के कारण आहत हुई हो। लेकिन कार्टून का मकसद कभी भी किसी को अपमानित करने का नहीं था।’’

यह पूछे जाने पर कि क्या सहयोगी भाजपा तथा अन्य विपक्षी दलों द्वारा घेरे जाने के बाद माफी मांगी गयी है, ठाकरे ने कहा कि वह किसी के दबाव में नहीं आते और वह सिर्फ उन महिलाओं के सामने झुक रहे हैं जो कार्टून से आहत हुई हैं। उन्होंने कहा कि मैंने आज जो कहा है, वह दिल से कहा है तथा मेरे ऊपर कोई दबाव नहीं था।’’

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ठाकरे ने कहा कि उनके नेतृत्व में पार्टी का एक प्रतिनिधिमंडल कल मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस से मिला और मराठों की मांग पर चर्चा के लिए विधानमंडल के एक दिन का विशेष सत्र बुलाए जाने की मांग करते हुए एक ज्ञापन सौंपा। इन मांगों में नौकरियों और शिक्षा में आरक्षण शामिल है।

उन्होंने कहा कि ‘‘मुख्यमंत्री ने कहा कि उनका विचार है कि मराठों को आरक्षण मिलना चाहिए। लेकिन वह यह बताने में नाकाम रहे कि कब तक। हम चाहते हैं कि इस मुद्दे पर सभी राजनीतिक दलों के विधायकों का रूख रिकॉर्ड में हो।’’ कांग्रेस ने ठाकरे के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि अगर उनकी माफी दिल से थी तो उन्हें काटून प्रकाशित होने के तुरंत बाद ऐसा करना चाहिए था।

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विधानसभा में विपक्ष के नेता और कांग्रेस सदस्य राधाकृष्णन विखे पाटिल ने कहा कि उद्धव ठाकरे ने स्थिति की गंभीरता को देर से समझा। उन्होंने कहा कि सिर्फ महिलाओं से माफी मांगने के बदले उन्हें पूरे मराठा समुदाय से माफी मांगनी चाहिए थी।