मारे गए आतंकी बुरहान वानी के पिता ने कश्मीर में लोगों से पत्थर नहीं फेंकने की अपील की है। पेशे से स्कूल हैडमास्टर मुजफ्फर वानी ने कश्मीर में चल रही हिंसा पर कहा कि समस्या का हल बातचीत से ही निकाला जा सकता है। उन्होंने कहा कि उनका बेटा मर चुका है लेकिन पत्थर मत फेंकिए। अंग्रेजी अखबार हिंदुस्तान टाइम्स से बातचीत में उन्होंने कहा, ”मैं युवाओं से अपील करता हूं कि पत्थर मत फेंकिए। बंदूकों के सामने उनका कोई मुकाबला नहीं।” बुरहान वानी के पिता ने बताया कि उनके पास कई लोग आते हैं जो उन्हें विरोध-प्रदर्शनों में शामिल होने को कहते हैं। लेकिन वह बुरहान वानी के पिता बनकर ही खुश हैं।
मुजफ्फर वानी हालांकि कश्मीर की आजादी की हिमायत करते हैं। इस बारे में उनका कहना है कि उनका बेटा मरकर आजादी का आंदोलन दूसरों के लिए छोड़ गया। लेकिन बातचीत जरूरी है। आगे जाने का अकेला रास्ता बातचीत का है। ऐसा नहीं होगा तो वे लोग(भारत सरकार) फिर से साबित करेंगे कि उन्हें केवल हमारी जमीन से मतलब है न कि कश्मीरियों से। युवा पीढ़ी के बंदूक उठाने के सवाल पर उन्होंने कहा कि उनकी पीढ़ी बंदूक से डरती थी। यह पीढ़ी नहीं डरती। उन्हें बंदूक दो और वे इसे लेकर पहाड़ों में चले जाएंगे। उनके बेटे की तरह वे आतंकी बन जाएंगे।
बुरहान वानी कश्मीर के त्राल के शरीफाबाद का रहने वाला था। उसे पिछले महीने सुरक्षाबलों ने मार गिराया था। इसके बाद से कश्मीर में तनाव है और वहां पर लगातार प्रदर्शन हो रहे हैं। पिछले 42 दिन से वहां पर कर्फ्यू लगा हुआ है। अब तक वहां पर 50 के करीब लोग मारे जा चुके हैं। वहीं सैंकड़ों अन्य घायल हो चुके हैं। बुरहान वानी का बड़ा भाई भी सेना की गोलीबारी में मारा गया था।